vol -22 राह-ए-ईमान फ़रवरी issue - 02 ज्लान ...issue - 02 र...

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फ़रवरी 2020 ई० अह के अतिरि कोई उपसन के योगय नह मुहमद अह के िसूल ह। Vol -22 Issue - 02 राह-ए-ईमान न औि कम क इसलमी दपण प वयवहि के तलए पि :- समपदक िह-ए-ईमन, मजलस मुल अहमतदय भिि, क़तदयन - 143516 तिल गुिदसपुि, पंजब। Editor Rah-e-Iman, Majlis Khuddamul Ahmadiyya Bharat, Qadian - 143516, Distt. Gurdaspur (Pb.) Fax No. 01872 - 220139, Email : [email protected] Printed & Published by Shoaib Ahmad M.A. and owned by Majlis Khuddamul Ahmadiyya Bharat Qadian and Printed at Fazle Umar Printing Press, Harchowal Road, Qadian Distt. Gurdaspur 143516, Punjab, INDIA and Published at Office Majlis Khuddamul Ahmadiyya Bharat, P.O. Qadian, Distt. Gurdaspour 143516 Punjab iNDIA. Editor Farhat Ahmad 1. पतव िआन ........................................................................... 2 2. पतव हदीस ............................................................................. 2 3. हििि मसीह मौऊद अलैतहसलम की अमृिवण................................. 3 4. हनी ख़ियन...........................................................................4 5. समपदकीय................................................................................6 6. आय से तख़िब (हििि मसीह मौऊद अलैतहसलम की िचन).................7 7. सिंश तब जुमअ 03-01-2020....................................................8 8. ऐस कय है? िि सोच...............................................................14 9. नफ (नतभ) के बिे म िोचक जनकिी............................................17 10. तसलतसल अहमतदय (तजलद-1)....................................................20 11. कहिे ह िसलीस को, अब 'अहले दतनश' अलतवद.............................23 12. तमक़िुल यक़ीन फी हयिे नूीन (ख़लीफ अववल की जीवनी).......27 13. वह, तजस पे िि तसििे तलए उिििी है...........................................31 वारक मूल: 130 पए रव सूरि लेखक के तवचि से अहमतदय मुजसलम जमअि क सहमि होन ििी नह समपादक फ़रहत अहमद आिा XXXXXXXXXXXXXXXXXXXXXXX उप समपादक सययद मुतहयुीन फ़िीद M.A. इबनुल मेहदी लईक M.A. कमपरिंग टाइप सेरटंग फ़िहि अहमद आचय टाइटल रििाइन नईमुल हक़ कुिैशी मैनेजर अिहि अहमद शमीम M.A. कााल भार सययद हरिस अहमद अनीस अहमद असलम

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  • फ़रवरी2020 ई०

    अल्लाह के अतिरिक्त कोई उपलासनला के योगय नहीं मुहममद अल्लाह के िसूल हैं।

    Vol -22 Issue - 02 राह-ए-ईमान

    ज्लान औि कम्म कला इसललामी दप्मण

    पत्र वयवहलाि के तलए पिला :-समपलादक िलाह-ए-ईमलान, मज्लस ख़ुद्लामुल अहमतदयला भलािि,क़लातदयलान - 143516 तिलला गुिदलासपुि, पंजलाब।Editor Rah-e-Iman, Majlis Khuddamul Ahmadiyya Bharat,Qadian - 143516, Distt. Gurdaspur (Pb.)Fax No. 01872 - 220139, Email : [email protected]

    Printed & Published by Shoaib Ahmad M.A. and owned by Majlis Khuddamul Ahmadiyya Bharat Qadian and Printed at Fazle Umar Printing Press, Harchowal Road, Qadian Distt. Gurdaspur 143516, Punjab, INDIA and Published at Office Majlis Khuddamul

    Ahmadiyya Bharat, P.O. Qadian, Distt. Gurdaspour 143516 Punjab iNDIA. Editor Farhat Ahmad

    1. पतवत्र क़ुिआन ........................................................................... 2

    2. पतवत्र हदीस ............................................................................. 2

    3. हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम की अमृिवलाणी ................................. 3

    4. रूहलानी ख़िलायन...........................................................................4

    5. समपलादकीय................................................................................6

    6. आययों से तख़िलाब (हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम की िचनला).................7

    7. सलािलांश ख़ुतबबः जुमअबः 03-01-2020....................................................8

    8. ऐसला कयों है? ििला सोचें...............................................................14

    9. नलाफ (नलातभ) के बलािे में िोचक जलानकलािी............................................17

    10. तसलतसलला अहमतदयला (तजलद-1)....................................................20

    11. कहिे हैं िसलीस को, अब 'अहले दलातनश' अलतवदला.............................23

    12. तमक़ला्मिुल यक़ीन फी हयलािे नूरुद्ीन (ख़लीफला अववल की जीवनी).......27

    13. वह, तजस पे िलाि तसिलािे तलए उिििी है...........................................31

    वार्षिक मूल्य: 130 रुपए

    रव््य सूरि

    लेखकों के तवचलाि से अहमतदयला मुजसलम जमलाअि कला सहमि होनला िरूिी नहीं

    समपादकफ़रहत अहमद आिा्यषि

    XXXXXXXXXXXXXXXXXXXXXXX

    उप समपादकसययद मुतहयुद्ीन फ़िीद M.A.

    इबनुल मेहदी लईक M.A.कमपपोरिंग टाइप सेरटंगफ़िहि अहमद आचलाय्म टाइटल रििाइननईमुल हक़ कुिैशी

    मैनेजरअिहि अहमद शमीम M.A.

    का्याषिल्य प्रभारसययद हलारिस अहमद

    अनीस अहमद असलम

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 2

    अनुवाद:- हे लोगो जो ईमलान ललाए हो! कयला मैं िुमहें ऐसला वयलापलाि बिला दूँ, जो िुमहें बचला ले दुबःखदलायी यलािनला से?िुम ईमलान ललाओ अल्लाह िथला उसके िसूल पि औि तजहलाद किो अल्लाह की िलाह में अपने धनों औि प्लाणों से, यही िुमहलािे तलए उत्तम है, यतद िुम जलानिे हो।वह क्षमला कि देगला िुमहलािे पलाप औि िुमहें ऐसे सवगयों में प्वेश देगला, जहलाँ नहिें बहिी हैं िथला सवच्छ घिों में सथलायी सवगयों में। यही बडी सफलिला है।

    (सूिला अस्-सफ़फ़-11-13) परवत्र हदीस

    (हििि मुहममद सल्ल्लाहु अलैतह वसल्म के कथन)

    अनुवाद: हििि उक़बला तबन अमरु बयलान कििे हैं तक मैंने आँहििि सल्ल्लाहु अलैतह वसल्म से पू्छला तक नजलाि औि बचलाओ की बेहििीन िलाह कयला है आप सल्ल्लाहु अलैतह वसल्म ने फ़िमलायला- अपनी िबलान को िोक कि िखो, अपनला घि मेहमलानों के तलए खुलला िखो औि अपनी ग़लतियों पि लजजिि हो कि ख़ुदला के सलामने िोयला किो।

    (तिितमिी)हििि सौबलान िति० वण्मन कििे हैं तक आँहििि सल्ल्लाहु अलैतह वसल्म ने

    फ़िमलायला ख़ुशनसीब है वह वयजक्त तजसकी िबलान उस के क़लाबू में हो, उस कला मकलान (मेहमलानों के तलए खुलला हो औि वह अपनी ग़लतियों पि लजजिि हो कि ख़ुदला के सलामने िोिला हो।

    (अत्तगगीब वत्तबःिीब)

    परवत्र क़ुआषिन (अल्लाह िआलला के कथन)

  • राह-ए-ईमान3फ़रवरी 2020 ई०

    हिरत रमिाषि ग़ुलाम अहमद सारहब क़ारद्यानी मसीह मौऊद अलैरहससलाम फ़रमाते हैं :-

    औरल्या-उल्ाह से जंग का पररणामएक वयजक्त तकसी शेख़ अबदुल िहमलान कशमीिी बलािलाि कला प्कलातशि हुआ लंबला चौडला तवज्लापन लेकि हििि अक़दस अलैतहससललाम की तख़दमि में हलातिि हुआ, हििि अकदस ने इस पि फ़िमलायला- "अब हमलािी बलािें उन

    लोगों को समझ में नहीं आिीं औि दिहक़ीक़ि जब िक आसमलान से नूि नलातिल हो कि तदलों को समझदलाि न बनलाए कोई न समझला सकिला है औि न कोई समझ ही सकिला है। ये तदन कतिनलाइयों के तदन हैं।' तफि फ़िमलायला- "कयला यही सच्च है तक ख़ुदला िआलला के औतलयला से जंग किने के सबब से न तसफ्फ ईमलान ही हलाथ से जलािला है बजलक अक़लें भी चली जलािी हैं। इस वक़ि जो बोलिला है यही बोलिला है औि बीतसयों पत्र हि ओि से इस तवषय के आिे हैं तक महि शलाह ने तमिला्म सलातहब की सलािी शितें मंज़ूि कि लीं तफि वह मुक़लाबलला के तलए कयों न आए। अल्लाह अल्लाह! एक िूफ़लान बेिमीिी बिपला है। कोई ग़ौि कििला ही नहीं तक असल बलाि कयला है।'' (मलफफूिलाि तजलद-1 पृष्ठ-63)

    एक नेकी से दूसरी नेकी पैदा हपोती है असल बलाि यह है तक बिेु कलामों कला परिणलाम बिुला होिला है। इसललाम के तलए ख़ुदला िआलला कला क़लाननू-ए-क़ुदिि है तक एक नकेी स ेदसूिी नकेी पदैला हो जलािी है। मुझ ेयलाद आयला िितकििलु औतलयला में मैंन ेपढला थला तक एक अजगनउपलासक बढूला नवव ेबिस की उम्र कला थला। इतत्तफ़लाक़न बलारिश की झडी जो लग गई िो वह इस झडी में ्छि पि तचतडयों के तलए दलान ेडलाल िहला थला। तकसी बजु़ुग्म ने पलास स ेकहला तक अिे बडेु् ि ूकयला कििला है ? उसने जवलाब तदयला तक भलाई ्छबः सलाि तदन लगलािलाि बलारिश होिी िही है। तचतडयों को दलानला डलालिला हूँ। उसन ेकहला तक ि ूवयथ्म कलाम कििला है, ि ूिो कलातफ़ि है िझु ेसवलाब कहलँा? बढेू न ेजवलाब तदयला- मझेु इस कला सवलाब िरूि तमलगेला। बुज़ुग्म सलातहब फ़िमलाि ेहैं तक मैं हज को गयला िो दिू स ेकयला दखेिला हूँ तक वही बढूला िवलाफ़ कि िहला है। उस को दखेकि मुझ ेिलाजिबु हुआ औि जब मैं आग ेबढला िो पहल ेवही बोलला- कयला मिेला दलान ेडलालनला वयथ्म गयला यला उनकला बदलला तमलला। (मलफफूिलाि तजलद-1 पषृ्ठ-63)

    हिरत मसीह मौऊद अलैरहससलामकी अमृतवाणी

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 4

    रूहानी ख़िा्यन'रिक्ा' (पुसतक 'कशती नूह' से उद्ृत)

    (अहमतदयि की तशक्षलाओं कला सलािलांश)......यही मेिे सलाथ तकयला गयला औि तफि जैसला तक उस कुफ़्र के पश्लाि जो हििि ईसला के संबंध में तकयला गयला थला, उनको बहुि सिलायला गयला, बुिी से बुिी ग़लातलयलां दी गई थीं, बुिलाइयों औि गलातलयों पि आधलारिि पुसिकें तलखी गयी थीं। यही सब कु्छ यहलां हुआ, िथलातप अिलािह सौ वषयों के पश्लाि वही ईसला तफि उतपन्न हो गयला औि वही यहदी तफि उतपन्न हो गए। अफ़सोस, यही अथ्म िो इस भतवषयवलाणी कला थला तक “ग़ैरिल मग़ज़ूबे अलैतहम” जो ख़ुदला ने पहले ही समझला तदयला थला पिनिु उन लोगों ने धैय्म से कलाम न तलयला जब िक तक यहतदयों की भलांति "मग़ज़ूबे अलैतहम" न बन गए। इस समलानिला की एक ईंट िो ख़ुदला ने अपने हलाथ से लगला दी तक मुझे िीक चौदहवीं शिलाबदी के प्लािंभ में इसलाम का मसीह बनलाकि भेजला जैसला तक मसीह इबने मियम चौदहवीं शिलाबदी के प्लािंभ में आयला थला औि ख़ुदला मेिी सच्चलाई के प्मलाण सवरुप अपने बडे शजक्तशलाली तनशलान तदखला िहला है। आकलाश के नीचे तकसी तविोधी मुसलमलान, यहदी यला ईसलाई इतयलातद की सलामरय्म नहीं तक उनकला मुकलाबलला किे औि ख़ुदला कला मुकलाबलला एक असमथ्म औि िुच्छ मनुषय कि भी कैसे सकिला है। यह िो बुतनयलादी ईंट है जो ख़ुदला की ओि से है। प्तयके जो इस ईंट को िोडनला चलाहेगला वह िोड नहीं सकेगला लतेकन यह ईंट जब उस पि पडेगी िो उसके टुकडे-टुकडे कि देगी, कयोंतक ईंट भी ख़ुदला की औि हलाथ भी ख़ुदला कला है। दसूिी ईंट मिेे तविोतधयों न े ियैलाि किके मिेे मक़ुलाबले पि िख दी। मिेे मक़ुलाबल े पि वह कलाय्म तकए जो उस समय के यहतदयों न े तकए थ।े यहला ंिक तक तमटलाने के तलए मिेे तवरुद्ध क़तल कला मुकद्मला भी बनलायला गयला तजसके तवषय में मिेे ख़ुदला न ेमझु े पहल ेही सतूचि कि तदयला थला। वह मकुद्मला जो मझु पि बनलायला गयला वह हििि ईसला इबन े मियम के मुकद्मों स े अतधक सगंीन थला कयोंतक हििि ईसला पि जो मकुद्मला तकयला गयला उसकी बतुनयलाद मलात्र एक धलातम्मक तववलाद थला जो जज के तनकट एक सलाधलािण बलाि थी बजलक न होन ेके बिलाबि थी। पिनि ुमझु पि जो मकुद्मला बनलायला गयला वह क़तल कला प्यलास किन ेकला दलावला थला, औि जसैला तक मसीह के मक़ुद्मों में यहदी मौलतवयों न ेजलाकि सलाक्य दी थी। आवशयक थला तक इस मक़ुद्में में भी कोई मौलतवयों में स ेसलाक्य दिेला। अिबः इस कलाय्म के तलए ख़ुदला न े मौलवी महुममद हुसनै बटलालवी को चनुला, वह एक बडला जबुबला पहन कि सलाक्य के तलए आयला।

  • राह-ए-ईमान5फ़रवरी 2020 ई०

    जसैला तक सिदलाि कलातहन मसीह को सलीब तदललाने के तलए नयलायलालय में सलाक्य देन ेहेि ुआयला थला, यह भी उपजसथि हुए। अनिि मलात्र इिनला थला तक सिदलाि कलातहन को पलैलािूस की अदलालि में कुसगी तमली थी कयोंतक यहतदयों के सममलाननीय वयजक्तयों को िोम की सिकलाि में कुसगी दी जलािी थी औि कु्छ उनमें से आदिणीय नयलायधीश भी थ।े इसतलए इस सिदलाि कलातहन न ेअदलालि के तनयमों के अनुसलाि कुसगी प्लाप्त की औि मसीह इबन ेमियम एक अपिलाधी की भलातंि अदलालि के समक्ष खडला थला। पिनि ुमिेे मक़ुद्मों में इसके तवपिीि हुआ। अथला्मत् यह तक शत्रओुं की कलामनलाओं के तवपिीि कैपटन डगलस न ेजो पलैलािूस के सथलान पि अदलालि की कुसगी पि तविलाजमलान थला मझेु कुसगी प्सििु की। यह पलैलािूस मसीह इबने मियम के पलैलािसू की अपेक्षला अतधक नतैिक तसद्ध हुआ कयोंतक अदलालि के आदशे में वह सलाहस औि तहममि स ेअदलालि कला पलाबदं िहला औि उच्चसििीय तसफ़लारिशों की उसन ेकु्छ भी पिवलाह न की औि जलातिगि औि धलातम्मक तवचलाि न ेभी उसमें कु्छ परिवि्मन पैदला न तकयला। उसन ेअदलालि की गरिमला कला पूण्म धयलान िखि ेहुए ऐसला उत्तम आदश्म प्सििु तकयला तक यतद उसके अजसितव को कौम कला गौिव औि शलासकों के तलए आदश्म समझला जलाए िो अनपुयकु्त न होगला। अदलालि एक कतिन मलामलला है। मनषुय जब िक समसि समबनधों स ेपथृक होकि अदलालि की कुसगी पि न बिेै िब िक उस कि्मवय कला अच्ेछ िंग में तनवला्मह नहीं कि सकिला। पिनिु हम इस सच्ची सलाक्य को प्सिुि कििे हैं तक इस पैललािूस ने इस कि्मवय को पूण्मरूपेण पूिला तकयला, यद्यतप तक पहलला पैललािूस जो िोम कला थला, इस कि्मवय को भली भलांति पूण्म न कि सकला औि उसकी बुितदली ने मसीह को बडी-बडी मुसीबिों कला लक्य बनलायला। यह अनिि हमलािी जमलाअि में हमेशला समिण योगय िहेगला जब िक तक संसलाि क़लायम है औि ्यों-्यों यह जमलाअि ललाखों, किोडों की संखयला िक पहुंचेगी, वैसे-वैसे ही इस सवच्छ हृदय शलासक को प्शंसला के सलाथ यलाद तकयला जलाएगला। यह उसकला सौभलागय है तक ख़ुदला ने इस कलाय्म हेिु उसी को चुनला। एक शलासक के तलए यह अतयतधक पिीक्षला कला अवसि है तक उसके समक्ष दो पलातटटियलां आएं तक एक उनमें से उसी के धम्म कला प्चलािक है औि दूसिला पक्ष वह है जो उसके धम्म कला कट्टि तविोधी है। पिनिु इस बहलादुि पैललािूस ने इस पिीक्षला को बडे सलाहस से सहन तकयला। उसको उन पुसिकों के सथलान तदखलाए गए तजन में मूख्मिला से ईसलाई धम्म के तवषय में किोि शबद समझे गए थे औि एक तविोधी अतभयलान चललायला गयला थला। पिनिु उसके चेहिे पि परिवि्मन के कोई लक्षण पैदला न हुए कयोंतक वह अपनी प्कलाशमय अनििलातमला के कलािण वलासितवकिला िक पहुूँच गयला, औि चूंतक उसने मुक़द्मों की वलासितवकिला कला सच्चे हृदय से तवश्ेषण तकयला थला इसतलए ख़ुदला

    िे् पृष्ठ 13 पर

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 6

    पेिगपोई मुसलेह मौऊदसमपादकी्य सय्यदना हिरत रमिाषि ग़ुलाम अहमद सारहब मसीहे मौऊद व महदी मौऊद अलैरहससलाम “मुसलेह मौऊद” (अराषित् दूसरे ख़लीफ़ा एवं अपने सपुत्र हिरत रमिाषि बिीरुद्ीन महमूद अहमद सारहब) के बारे में अिीमुशिान पेिगपोई (महत्वपूणषि भरवष्यवाणी) का वणषिन करते हुए फ़रमाते हैं :-

    “ख़ुदलाए िहीम व किीम न ेजो प्तयके चीि पि क़लातदि है जल्ला शलानहु व अ़़्ि इसमुह - तजसकी शलान प्िलापी है औि उसकला नलाम इ्िि वलालला है। मझुको अपने इलहलाम (वलाणी) स ेसबंोतधि किके फ़मला्मयला तक मैं िझु ेएक िहमि (कृपला) कला तनशलान देिला हूँ उसी के अनुसलाि जो िनू ेमझुसे मलागंला। अि: मैंने ििेी वदेनओं को सनुला औि ििेी दआुओं को अपनी िहमि से क़बतूलयि (मज़ंूिी) की जगह दी औि ििेे सफ़ि (होतशयलािपुि औि लतुधयलानला) को ििेे तलये मबुलािक कि तदयला। अि: क़ुदिि (शजक्त) औि िहमि (कृपला) औि क़ुब्मि (तनकटिला) कला तनशलान िझु ेतदयला जलािला है। फ़िल औि एहसलान (कृपला व उपकलाि) कला तनशलान तदयला जलािला है औि फ़िह औि िफ़ि (सफलिला औि तवजय) की कंुजी िझेु तमलिी है। ऐ मुि़फ़फ़ि (तवजिेला) ! िझु पि सललाम। ख़ुदला ने यह कहला िलातक वह जो क़बिों में दब ेपडे हैं बलाहि आयें औि इसललाम धम्म की प्तिष्ठला औि कललामलु्लाह (क़ुआ्मन) की शे्ष्ठिला लोगों पि प्कट हो औि िलातक सतय अपनी पिूी बक्फिों के सलाथ आ जलाए औि बलातिल (झूि) अपनी पिूी बिुलाईयों के सलाथ भलाग जलाये। अि: लोग समझें तक मैं क़लातदि (सलामरय्मवलान) हूँ, जो चलाहिला हूँ कििला हूँ। अि: वे तवश्लास कि लें तक मैं ििेे सलाथ हूँ औि उनहें जो ख़ुदला के वजदू पि ईमलान नहीं ललािे औि ख़ुदला औि ख़ुदला के धम्म औि उसकी तकिलाब औि उसके पतवत्र िसलू महुममद मसुिफ़ला सल्ल्लाहो अलैतह वसल्म को इनकलाि औि िकिीब (तविोध औि झिू) की दृजटि स ेदखेिे हैं, एक खलुी तनशलानी तमले औि मजुरिमों की िलाह प्कट हो जलाय।े अि: िझु ेखुशखबिी हो तक एक वजीह (प्िलापी) औि पतवत्र लडकला िझु ेतदयला जलायगेला। एक िकी ग़ुललाम (पतवत्र लडकला) िझेु तमलगेला। वह लडकला ििेे ही बीज स ेििेी ही सनिलान व कुल कला होगला। सनुदि, पतवत्र लडकला, िमुहलािला मेहमलान आिला है उसकला

  • राह-ए-ईमान7फ़रवरी 2020 ई०

    नलाम अनमवलाईल औि बशीि भी है। उसको मकुद्स रूह (पतवत्र आतमला) दी गई है औि वह अशदु्धिला स ेपतवत्र है। वह अल्लाह कला नूि (प्कलाश) है। मुबलािक वह जो आसमलान से आिला है। उसके सलाथ फ़िल है, जो उसके आने के सलाथ आयेगला। वह सलातहब ेतश कोह (प्िलापी) औि अिमि (महलान) औि दौलि (धनी) होगला। वह दतुनयला में आयेगला औि अपन ेमसीही नफ़स अथला्मत्(मसीही शजक्त) औि रूहुल हक़ की बक्फि स ेबहुिों को बीमलारियों स ेसलाफ़ किेगला। वह कतलमिलु्लाह (अथला्मत् एकेश्िवलाद कला प्िीक) है। कयोंतक ख़ुदला की िहमि (कृपला) व ग़ययूिी (सवलातभमलान) न ेउस ेअपने कतलमला िमजीद (बुज़ुगगी व शलान) स ेभजेला है। वह सख़ि िहीन व फ़हीम (बतुद्धमलान एव ंसझूवलान) होगला औि तदल कला हलीम (शलािं सवभलाव) औि उलमू ेिलातहिी व बलातिनी (अथला्मत् सलंासलारिक िथला आधयलाजतमक ज्लान) स ेपिु तकयला जलायेगला। वह िीन को चलाि किन ेवलालला होगला (इसके अथ्म समझ में नहीं आए) दशंुब: (सोमवलाि) है मबुलािक दशुनब: (अथला्मत् सोमवलाि) फ़ि्मनद तदल बंद तगिलामी अजु्ममनद (सममलान जनक, मनमोहक श्षे्ठ सपुतु्र)।

    َماء َ نََزَل ِمَن الّسَُعَلء َکاَّنَ الّلٰ

    َْحِقّ َو ال

    ْ ال

    ُِخِر۔ َمْظَہر ٰ

    ِْل َوال َّوَ

    ْ ال

    ُ َمْظَہر

    मज़हरूल् अववले वल् आतख़रि, मज़हरूल् ह़़कक़े वल् अललाऐ कअन्नल्लाह नज़िल तमनससमलाइ

    अथला्मत् वह उस ख़ुदला कला प्कलाश है जो हमेशला से है औि सदैव िहने वलालला है वह उस ख़ुदला कला प्कलाश है जो सच है औि महलान है (उसकला आनला ऐसला ही है) जैसला तक अल्लाह सवंय आकलाश से उिि आयला हो।

    तजसकला आनला बहुि मुबलािक औि ख़ुदला के प्िलाप के प्कट होने कला कलािण होगला। निू आिला है निू। तजसको खदूला न ेअपनी इच्छला के इत्र से सुगतंधि तकयला है। हम उसमें अपनी आतमला डलालेंगे। ख़ुदला कला सलायला उसके तस ि पि होगला। वह अतिशीघ्र बढेगला औि असीिों (गुललामों) की रुसिगलािी (मुजक्त) कला कलािण होगला औि िमीन के तकनलािों िक शोहिि(प्तसद्ध) पलाएगला औि क़ौमें (जलातियला)ं उसस ेबिकि पलाएेंगी। िब अपने नफ़सी नुक़िला आसमलान अथला्मत् ख़ुदला की ििफ उिलायला जलायगेला। व कलानला अम्रम् मतक़िययला (औि यह कलाम पिूला होकि िहन ेवलालला है)।

    (इजशिहलाि 20 फ़िविी 1886, पृ. 3)

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 8

    सारांि ख़ुतबबः जुमअबः सÄØÎÙæ ãUÊæÚUÌ ¥×èL¤Ü ×æðç×ÙèÙ ख़लीफ़तलु ×âèãU अलख़ामिस ¥ÄØÎãéUËËææãéU Ì¥æÜæ तबनतरितहल ¥ÊæèÊæ çÎÙæ´·¤ 03.1.2020

    बैिुल फुिूह मॉडन्म, बिला्मतनयला

    वकफ़-ए-जदीद के 62वें साल का बाबरकत िुभारमभवकफ़-ए-जदीद की िहिीक में दुतनयला भि में मलाल की क़ुबला्मनी पेश किने वलाले लोगों के ईमलान वध्मक वृत्तलांि

    िशह्हुद िअववुि िथला सूि: फ़लातिह: की तिललावि के बलाद हुज़ूि-ए-अनवि अययदहुल्लाहु िआलला तबनतरितहल अिीि ने फ़िमलायला- हििि अक़दस मसीह मौऊद अलैतहससललाम ने अपनी प्तिजष्ठि पुसिक इसललामी उसूल की फ़ललासफ़ी में ख़ुदला िआलला को पलाने, उसे पहचलानने िथला उस पि ईमलान मिबूि किने के आि उपलाय बयलान फ़िमलाए हैं जो इंसलान के जीवनोद्ेशय को पूिला किने वलाले भी हैं। इस समय मैं अपने ख़ुतबे के मलाधयम से एक उपलाय के बलािे में हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम के उद्धिण पेश करुंगला। आप फ़िमलािे हैं तक-

    पलांचवलाँ उपलाय मूल उद्ेशय की प्लाजप्त के तलए संघष्म िहिलायला है। जैसला तक वह फ़िमलािला है-(सूि: िौबला-७०) َجاِہُدْوا ِباَْمَوالُِکْم َواَنُْفِسُکْم ِفْ َسِبْیِل الِل ّوَ

    (सूि: अनफ़लाल-४) ا َرَزقْٰنُہْ یُْنِفُقْوَن َوِمّمَ (सूि: अनकबूि-७०) َ

    ُْمْحِسـِنی

    َْوِاّنَ اللَ لََمَع ال ُسـُبلََنا

    ُہْ یَْن َجاَہُدْوا ِفْیَنا لَـَنْہِدیَّنَ ِ َواّلَअथला्मि अपने प्लाणों एवं अपनी धन समपतत्त िथला अपनी चेिनलाओं को उनकी समपूण्म शजक्तयों के सलाथ

    ख़ुदला की िलाह में ख़च्म किो। औि जो कु्छ हमने बुतद्ध िथला ज्लान एवं तववेक औि दक्षिला इतयलातद िुमको दी है वह सब ख़ुदला की िलाह में लगलाओ। जो लोग हमलािी िलाह में प्तयेक सलामरय्म के सलाथ प्यतन कििे हैं हम उनको अपनी िलाहें तदखलायला कििे हैं"

    तफि ख़ुदला िआलला के स्ेह को पलाने कला मलाग्म बिलािे हुए हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम ने एक अवसि पि फ़िमलायला तक िुमहलािे तलए समभव नहीं तक मलाल से भी मुहबबि किो औि ख़ुदला िआलला से

  • राह-ए-ईमान9फ़रवरी 2020 ई०

    भी। अि: वह वयजक्त भलागयशलाली है तक ख़ुदला से मुहबबि किे औि यतद िुम में से कोई ख़ुदला से मुहबबि किके उसके तलए मलाल खच्म किेगला िो मैं तवश्लास िखिला हूँ तक उसके मलाल में भी दूसिों की अपेक्षला अतधक बिकि दी जलाएगी, कयूँतक मलाल सवयं नहीं आिला। अि: जो वयजक्त ख़ुदला के तलए कु्छ भलाग मलाल कला ्छोडिला है वह अवशय उसे पला लेगला औि जो वयजक्त मलाल से मुहबबि किके ख़ुदला की िलाह में वह सेवला नहीं कििला जो उसे किनी चलातहए िो वह अवशय उस मलाल को खोएगला। तफि आपने फ़िमलायला तक चलातहए तक हमलािी जमलाअि कला प्तयेक मनुषय यह संकलप किे तक मैं इिनला चनदला तदयला करुंगला। जो वयजक्त अल्लाह िआलला के तलए संकलप कििला है अल्लाह िआलला उसके मलाल में बिकि देिला है।

    हुज़ूि-ए-अनवि ने फ़िमलायला- अल्लाह िआलला की कृपला से ललाखों तनष्ठलावलान हैं तजनको जब चनदे के महत्व की ओि धयलान तदललायला जलाए िो अल्लाह िआलला की मुहबबि को प्लाप्त किने के तलए मलाल की क़ुबला्मनी में बढने कला प्यलास कििे हैं औि यही कलािण है तक मैं गि कई वषयों से तनिलाम-ए-जमलाअि को इस ओि धयलान तदलला िहला हूँ तक नए आने वलालों को मलाल की क़ुबला्मनी के तनिलाम में अवशय शलातमल किनला चलातहए। कोई चलाहे एक रुपए कला ही सलामरय्म िखिला हो, वह अपने सलामरयला्मनुसलाि दे। कु्छ सथलानों पि यह भी देखने मे आयला है तक कई बलाि समृद्ध लोग अपने तनध्मन रिशिेदलािों की ओि से चनदे की अदलायगी कि देिे हैं, िीक है यह एक नेकी है तकनिु उन तनध्मन लोगों को चलातहए तक वे सवयं भी सलामरयला्मनुसलाि भलाग लें। केवल मलाल एकत्र किनला उद्ेशय नहीं है बजलक ख़ुदला िआलला की मुहबबि में उसके दीन के तलए क़ुबला्मनी किनला उद्ेशय है। अि: जहलाँ जमलाअिी तनिलाम इस प्कलाि चनदला वसूल कििला है तक लोगों से कह तदयला िथला तकसी के नलाम पि डलाल तदयला, वह ग़लि कििला है, कई बलाि एैसी बलािें मेिी संज्लान में आ जलािी हैं। अिएव सलामलानयि: मैंने देखला है बजलक मलाल की कुबला्मतनयों की जो रिपोटतें आिी हैं उनमें तवशेष रूप से यह देखने में आयला है तक ग़िीब लोगों की मलाली क़ुबला्मतनयों कला वण्मन अतधक होिला है, उनमें अतधक भलावनला होिी है तक हमने मलाल की क़ुबला्मनी किनी है। हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम के िमलाने में ऐसे उदलाहिण देखने में आिे थे। एक बलाि हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम को कु्छ धन िलातश की आवशयकिला पडी औि जब तकसी दोसि को कहला गयला तक यह िरूिि है अपनी जमलाअि में िहिीक किें िो बजलाए जमलाअि में िहिीक किने के अपनी ओि से उनहोंने वह धन िलातश उपलबध कि दी िथला अतभवयक्त एैसला तकयला तक इस शहि की जमलाअि ने यह धन िलातश भेंट की है। हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम के संज्लान में भी यह नहीं आयला औि यह वयजक्तगि कुबला्मनी उस समय सलामने आई जब हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम ने उसी जमलाअि के एक दूसिे वयजक्त कला धनयवलाद कििे हुए फ़िमलायला तक आपकी जमलाअि ने िीक आवशयकिला के समय बडी सहलायिला की है औि जब उनको पिला चलला तक वह क़ुबला्मनी िो एक वयजक्त ने ही की थी िो जमलाअि के शेष लोग उस पि नलािलाि हुए तक

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 10

    हमें कयूँ नहीं इस सेवला कला सौभलागय तदयला गयला। यह अदलायगी किने वलाले मुंशी िफ़ि सलाहब थे तजनहोंने उस समय अपनी पतनी के गहने बेच कि यह धन िलातश उपलबध की थी, तन:सनदेह उनकी पतनी भी इस क़ुिबलानी में शलातमल थी। िो एैसे एैसे लोग अल्लाह िआलला ने हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम को अिला फ़िमलाए जो ख़ुदला की मुहबबि हलातसल किने के तलए हि प्कलाि की क़ुबला्मनी के तलए िययलाि िहिे थे। यह वह नमूनला है जो आँहििि सल्ल्लाहु अलैतह वसल्म के सहलातबयों ने क़लायम फ़िमलायला औि तजस पि इस िमलाने में हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम के मलानने वलालों ने अमल तकयला िथला यह केवल उस समय की ही बलाि नहीं है बजलक यह क्रम आज िक जलािी है।

    गैजमबयला में एक दोसि हैं अबदुिटिहमलान सलाहब, उनहें अपने बच्चे के सकफूल की फ़ीस भिने में बडी कतिनलाई हो िही थी अि: उनहोंने सैनट्रल मुबजल्ग़ सलाहब को बिलायला तक बडी कतिनलाई चल िही है, आतथ्मि जसथति िीक नहीं है, िो मुबजल्ग़ ने उनहें कहला तक आप मलाली क़ुबला्मनी किें अल्लाह िआलला आपके ऊपि अपनी कृपला किेगला। उनहोंने दो सौ पचलास डललासी चनदला वकफ़-ए-जदीद अदला कि तदयला। कहिे हैं तक चनदला अदला किने के िीक एक सप्तलाह बलाद उनहें पलाँच हिलाि डललासी मलातसक के वेिन पि नौकिी तमल गई तजससे वे बडी सुतवधला पूव्मक अपने बच्चों की फ़ीस भी अदला कि सकिे हैं।

    हुज़ूि-ए-अनवि ने फ़िमलायला- ग़िीब तकस प्कलाि क़ुबला्मनी कििला है औि अल्लाह िआलला पि तफि भिोसला कििला है औि तफि अल्लाह िआलला इस भिोसे कला मलान तकस प्कलाि िखिला है। तगनी तबसलाओ के तमशनिी सलाहब एक घटनला बयलान कििे हैं तक एक दोसि मोनटीिो कमलािला सलाहब को उनके वकफ़-ए-जदीद के वलादे की अदलायगी के बलािे में धयलान तदललायला गयला िो कहने लगे तक मेिे पलास इस समय चलाि हिलाि फलांक सीफ़ला हैं जो मैंने आज के खलाने के तलए िखे हुए थे, िो अिएव उनहोंने वही धन िलातश चनदे में अदला कि दी जो खलाने के तलए िखी थी औि खलानला तकसी से उधलाि ले तलयला। कहिे हैं तक अगले तदन ही उनकी बेटी शहि से आई जो उनके तलए दो बोरियलाँ चलावलों की िथला एक कनसिि िेल कला औि कु्छ पैसे िथला कु्छ अनय वसिुएँ लेकि आई औि उनको इस बलाि पि पूण्म तवश्लास हो गयला तक जो पैसे मैंने अपने खलाने के तलए िखे थे अल्लाह िआलला ने उस चनदला देने के कलािण एैसी बिकि डलाली तक असंखय चीिें मुझे अगले तदन ही खलाने के तलए तमल गईं।

    क़लातदयलान से मलामून िशीद सलाहब सैक्रेट्री वकफ़-ए-जदीद तलखिे हैं तक एक सलाहब हैं सुलेजला सलाहब, उनकला इस सलाल कला चनदला वकफ़-ए-जदीद कु्छ घिेलू पिेशतनयों के कलािण शेष थला। उनके भलाई ने उनको इस बलाि की ओि धयलान तदललायला तक अब सलाल पूिला हो िहला है इसकी िुिनि अदलायगी किो तकनिु उनके खलािे में इिनी धन िलातश नहीं थी तक पूिला चनदला अदला कि सकें बजलक पूिी िक़म कला केवल िीस प्तिशि ही एकलाउंट में मौजूद थला। वे बडे तचजनिि थे तक कैसे अदलायगी किें। अनिि: जो धन िलातश एकलाउंट में थी

  • राह-ए-ईमान11फ़रवरी 2020 ई०

    वही उनहोंने चनदे में अदला कि दी। वे बयलान कििे हैं तक अल्लाह िआलला की ओि से चमतकलािी रूप में कु्छ ही क्षणों में एकलाउंट में इिनी अतधक धन िलातश आ गई तक वे बक़लायला भी अदला कि सकिे थे। अि: उनहोंने उसी समय वह धन िलातश अपने वलादे के अनुसलाि अदला कि दी। कहिे हैं तक वे सदैव अपने वलादे के अनुसलाि वष्म समलाप्त होने से पहले ही अदला कि तदयला कििे थे तकनिु इस वष्म उनकी िथला उनके बच्चे की बीमलािी के कलािण चनदला शेष िह गयला थला, वे बडे पिेशलान भी थे तकनिु अल्लाह िआलला ने चमतकलाि के रूप में इसकला प्बनध कि तदयला औि कहिे हैं मेिे ईमलान में सुदृढिला कला कलािण बनला।

    इजनडयला से ही अबदुल महमूद सलाहब इंसपैकटि वकफ़-ए-जदीद एक दोसि की घटनला बयलान कििे हैं तक उनकी करियलाने की होल सेल की दुकलान है। वे िोिलानला दुकलान खोलिे ही सौ रुपए एक सनदूक़ में प्तितदन डलालिे थे तजससे अपने वलादे के अनुसलाि चनदे की अदलायगी कि देिे थे। कहिे हैं एक तदन दुकलान में ख़िीदलािी के तलए बहुि कम लोग आए। अगले तदन उनहोंने दुकलान खोलिे ही सौ के बजलाए िीन सौ रुपए उस सनदूक़ में डलाल तदए औि तदल में सोचला तक कयूँ न आज अल्लाह िआलला से सौदला तकयला जलाए। अल्लाह िआलला की कृपला एैसी हुई उस तदन दोपहि के बलाद कहिे हैं तक मेिे पलास आि ग्लाहक आए, अल्लाह के फ़ज़्ल से उस तदन अच्छी कमलाई हुई औि कहिे हैं तक अल्लाह िआलला जब इंसलान पि ख़ुश होिला है िो इिनला देिला है तक इंसलान दोनों हलाथों से नहीं संभलाल सकिला।

    िंिलातनयला के अमीि सलाहब तलखिे हैं तक अरूशला िीजन की एक जमलाअि में चनदे की िहिीक की गई। एक ग़िीब सत्री फ़लािमला सलातहबला जो केले औि फल बेच कि अपनला घि चललािी हैं उनहोंने दो तदन की पूिी आय वकफ़-ए-जदीद में अदला कि दी िथला अपने परिवलाि को भी तनयमलानुसलाि वकफ़-ए-जदीद में शलातमल किलायला। इसी प्कलाि जमलाअि की एक अनय वृद्ध मतहलला हैं, उनको भी िहिीक की गई िो अगले तदन सवेिे आि बजे सवयं तमशन हलाउस आईं औि पलाँच हिलाि शीतलंग वकफ़-ए-जदीद में अदला तकए। अब ये वे लोग हैं तजनके बलािे में हििि मसीह मौऊद अलैतहससललाम ने फ़िमलायला तक आश्य्म होिला है इन लोगों को देख कि तक तकस प्कलाि क़ुबला्मतनयलाँ कििे हैं।

    इजनडयला से इंसपैकटि वकफ़-ए-जदीद हैं, उनहोंने एक बच्ची कला वण्मन तकयला है तक वह कई वषयों से वकफ़-ए-जदीद कला चनदला देिी है औि एक थैली में पैसे जमला कििी िहिी है। न वह बोल सकिी है, न सुन सकिी है तकनिु जो भी उसको िक़म तमले वह चनदे में दे देिी है। जब दूसिों को चनदला देिी देखिी है िो उसमें भी रूतच उतपन्न हुई।

    अब मैं वकफ़-ए-जदीद के बलािे में गिवष्म में जो वकफ़-ए-जदीद के चनदे के तलए क़ुबला्मतनयलाँ हुई हैं उनकी रिपोटटि पेश करुंगला औि नए सलाल की घोषणला भी। अल्लाह िआलला के फ़ज़्ल से वकफ़-ए-जदीद कला बलासिवलाँ सलाल 31 तदसमबि को पूिला हुआ िथला नयला सलाल पहली जनविी से शुरु हो गयला है इस बीच

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 12

    अहमतदयला जमलाअि को वकफ़-ए-जदीद में त्छयलानवे ललाख िैंिीस हिलाि पलाउंड की मलाली क़ुबला्मनी पेश किने की िौफ़ीक़ तमली। गि वष्म से यह िक़म पलाँच ललाख पलाउंड अतधक है।

    इस वष्म बिला्मतनयला तवश् की अनय जमलाअिों में सलामूतहक रूप में वसूली की दृजटि से सव्मप्थम है, तफि पलातकसिलान है, तफि जम्मनी है, तफि अमिीकला, तफि कैनेडला, तफि भलािि, आसट्रेतलयला, इजनडोनेतशयला औि तफि तमतडल ईसट की दो जमलाअिें हैं।

    दस बडी जमलाअिें तजनकी सथलानीय कं्िसी में गि वष्म की िुलनला में वृतद्ध हुई है उनमें इजनडोनेतशयला सव्मप्थम है, तफि जम्मनी है, तफि अमिीकला है, उसके बलाद दूसिी जमलाअिें हैं। अिएव िीन बडी ये जमलाअिें हैं। भलािि ने भी अच्छी बढौििी की है औि कैनेडला, बिला्मतनयला औि तमतडल ईसट की जमलाअिों औि पलातकसिलान िथला आसटे्ितलयला की िुलनला में भलािि की जो सथलानीय मुद्ला में वृतद्ध हुई है क़ुबला्मनी की, वह इन देशों से अतधक है, इस दृजटि से पलाँचवें नमबि पि भलािि है।

    अल्लाह िआलला की कृपला से इस सलाल वकफ़-ए-जदीद में जो शलातमल हुए हैं उनकी संखयला अट्लािह ललाख इककीस हिलाि हैं औि इस वष्म उनकी वृतद्ध नवलासी हिलाि है।

    हुज़ूि-ए-अनवि ने फ़िमलायला- पलातकसिलान की जसथति आतथ्मक दृजटि से ख़िलाब हो िही है इसी कलािण से क्रंसी कला मूलय कु्छ नहीं िथला इसी कलािण से पोिीशन भी उनकी पी्छे चली गई, इसके बलावजूद क़ुबला्मनी में ये कमी नहीं कििे। तफि इस िीजन में भलािि पलातकसिलान में तववलाद बढ िहला है। भलािि में भीििी रूप से भी समलाचलािों के अनुसलाि हलाललाि कलाफ़ी ख़िलाब हैं िथला दुतनयला की सलाधलािणतयला हलालि भी एैसी है तक लगिला है ये सब अपने तवनलाश को आवलाि दे िहे हैं। तमतडल ईसट के भी हलाललाि ख़िलाब हो िहे हैं अब। ईिलान औि अमिीकला िथला इरिलाईल के बीच युद्ध की समभलावला बढ िही है। मुसलमलान देशों में आपस में एकिला नहीं है। अि: दुतनयला के तवनलाश से बचने िथला ख़ुदला की ििफ़ आने के तलए हमें दुआ बहुि किनी चलातहए। अल्लाह िआलला अपनला फ़ज़्ल किे औि उनको बुतद्ध िथला समझ प्दलान किे।

    अि: नए सलाल की वलासितवक मुबलािकबलाद हम पि जो दलातयतव डलाल िही है उसकला हि अहमदी बडे, ्छोटे, पुरुष, नलािी सबको आभलास होनला चलातहए औि इसके तलए अपनी समसि प्तिभलाओं एवं प्यलासों को उपयोग में ललानला चलातहए औि अपनी दुआओं में िथला ख़ुदला िआलला से समबंध में एक तवशेष अनुभव पैदला किने कला हमें प्यतन किनला चलातहए िभी हम इस सलाल की वलासितवक बिकिें प्लाप्त किने वलाले हो सकेंगे, अल्लाह िआलला हमें इसकी िौफ़ीक़ अिला फ़िमलाए।

  • राह-ए-ईमान13फ़रवरी 2020 ई०

    ने उसकी सहलायिला की, उसके हृदय पि सच्चलाई कला इलहलाम तकयला औि उस पि वलासितवकिला सपटि की गई, वह उससे अति प्सन्न हुआ तक नयलाय कला मलाग्म उसे प्िीि हो गयला। उसने मलात्र नयलाय को धयलान में िखिे हुए मुझे तवपक्ष के सममुख कुसगी प्सिुि की औि जब मौलवी मुहममद हुसैन ने जो सिदलाि कलातहन की भलांति तविोधी सलाक्य देने आयला थला मुझे कुसगी पि बैिला हुआ पलायला औि मेिे बलािे में तजस अपमलान को दखेन ेकी उसकी मनोकलामनला थी उस अपमलान को उसन ेन दखेला, िब समलानिला को उपयकु्त समझ कि वह भी उस पलैलािूस स ेकुसगी कला इच्ुछक हुआ। पिनि ुउस पलैलािसू न ेउस ेफटकलािला औि डलाटंकि कहला तक िझु ेऔि ििेे बलाप को कभी कुसगी नहीं तमली। हमलािे कलायला्मलय में िमुहलािी कुसगी के तलए कोई आदशे नहीं। अब यह अनिि भी तवचलाि योगय है तक पहल ेपलैलािूस न ेयहतदयों स ेभयभीि होकि उनके कु्छ आदिणीय सलातक्षयों को कुसगी द ेदी औि हििि मसीह को जो बिौि अपिलाधी प्सििु तकए गए थ,े खडला िखला। हलाललंातक वह सच्च ेहृदय स ेमसीह कला शभुतचनिक थला अतपि ुअनयुलातययों की भलातंि थला औि उसकी पतनी मसीह की तवशषे अनयुलायी थी जो ख़ुदला की पिमभजक्तनी कहललािी है। पिनि ुभय न े पलैलािसू स े यहलंा िक कृतय किलायला तक नयलायोतचि न होिे हुए भी तनिपिलाध औि तनददोष मसीह को यहतदयों के हवलाल ेकि तदयला। मिेी भलंाति उन पि कोई क़तल कला आिोप न थला, केवल सलाधलािण सला धलातम्मक तववलाद थला। पिनि ु वह िोमी पलैलािसू दृढ हृदय वलालला सलाहसी वयजक्त न थला। वह इस बलाि को सनुकि भयभीि हो गयला तक क़ैसि (िोम कला िलाजला) के पलास उसकी तशकलायि की जलाएगी। एक औि अनय समलानिला ितकलालीन पलैलािूस औि इस पलैलािसू में समिण िखन ेयोगय है तक ितकलालीन पलैलािूस न े उस समय जब मसीह इबने मियम नयलायलालय में प्सििु तकयला गयला, यहतदयों को कहला थला तक मैं इस वयजक्त में कोई पलाप नहीं दखेिला। ऐसला ही जब यह आतख़िी मसीह इस आतख़िी पलैलािूस के सलामन ेप्सििु हुआ औि इस मसीह न ेकहला तक मझु ेउत्ति दने ेके तलए कु्छ तदन की महुलि दी जलानी चलातहए तक मझु पि क़तल कला आिोप लगलायला जलािला है। िब इस आतख़िी पलैलािूस न ेकहला तक मैं आप पि कोई आिोप नहीं लगलािला। दोनों पलैलािसू के यह दोनों कथन पिसपि तबलकुल समलान हैं। यतद अनिि है िो केवल इिनला तक पहलला पलैलािसू अपन ेइस वचन पि क़लायम न िह सकला औि जब उस ेकहला गयला तक कैसि के पलास ििेी तशकलायि किेंग ेिो वह भयभीि हो गयला औि हििि मसीह को उसन ेजलानबझू कि तनद्मयी यहतदयों के हवलाल ेकि तदयला यद्यतप तक वह औि उसकी पतनी उनको हवलाल ेकिके शोकलाकुल थे, कयोंतक व ेदोनों मसीह के बहुि बडे अनयुलायी थ।े (िे्....)

    पृष्ठ 05 का िे्

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 14

    1891 : हििि तमिला्म ग़ुललाम अहमद सलातहब क़लातदयलानी न ेमसीह नलासिी की वफ़लाि कला ऐललान फ़िमलायला औि यह दलावला तकयला तक अल्लाह िआलला न ेआपको उममि मजुसलमला के तलए आहंुज़ूि स० की ख़ुशख़बिी के मिुलातबक़ मसीह औि मह्दी बनलाकि मलामिू फ़िमलायला है।

    200 उलमा का फ़तवा-ए-कुफ़्र पिेू तहनदोसिलान में मख़ुलातलफ़ि कला एक िफ़ूलान उिला। 200 बडे उलमला के दसिख़िों स ेउनकी िकफ़ीि कला फ़तवला जलािी कि तदयला गयला तजस पि मौलवी निीि हुसनै सलातहब दहेलवी के भी दसिख़ि थ।े तजनको तहनदोसिलान में शख़े-उल-कुल के तख़िलाब स ेयलाद तकयला जलािला थला। मलु्लाओं के ग़म औि ग़ुसस ेकी बतुनयलादी वजह उनकला यह दलावला थला तक मसीह इबन-ए-मरियम फ़ौि हो चकेु हैं औि आप ख़ुदला िआलला की ििफ़ से "मसीह हो कि अविरिि हुए हैं।" हििि तमिला्म सलातहब न ेअपनी मलामरूियि के दलाव ेस ेतहनदोसिलान के हि मिहबी िबक़े को नलािलाि तकयला ईसलाइयों को बिलायला तक तजनकी िमु पजूला किि ेहो वह दसूिों को कयला तिदंला किि ेहोंग ेवह "ईसला मसीह िो ख़ुद एक आतजि इनसलान थ ेऔि दीगि इनसलानों की ििह फ़ौि हो चकेु हैं। शीयला उलमला औि अवलाम इस वजह स ेसख़ि नलािलाि हुई तक इनहोंन ेफ़िमलायला है तक "इमलाम ग़लायब कला अक़ीदला केवल एक बडला झिू है। तहंद ूपज्डि औि अवलाम भी आपके दशुमन हो गए तक इनहोंने नयोग औि आवलागवन औि रूहों औि कणों के अनलातद होन ेकला अक़ीदला सख़िी स ेिद् तकयला। तसखों मिहब के मलानन ेवलालों को यू ंनलािलाि कि तदयला तक इनहोंन ेयह ऐललान फ़िमलायला तक हििि बलाबला गरुु नलानक दिहक़ीक़ि एक मसुलमलान वली उल्लाह थे। हििि तमिला्म सलातहब न ेतहनदोसिलान के पीिों फ़क़ीिों औि सैंकडों सलालों स ेलोगों के मलालों पि पलने वलाल,े गद्ीनशीन ख़लानदलानों को यू ंनलािलाि तकयला, तक उनके पिद ेखोल तदए तक यह लोग केवल क़ब्ों औि गली-सडी हड्ीयों के मजुलातवि हैं औि ख़ुदलाई िलाल्क़ु औि तनशलानों स ेतबलकुल अनजलान औि महरूम हैं औि उनको ख़ुदलाई तनशलान तदखलान ेपि बलाि-बलाि चैलेंज तकयला। तफि उनके इस दलावे स ेतक वह ख़ुदला िआलला स ेइसी ििह वह्ी पलािे हैं तजस ििह हििि नहू औि इबिलाहीम, औि इसमलाईल औि इसहलाक़ औि मसूला औि िमलाम अतंबयला-ए-तकिलाम अलतैहमसुसललाम ख़ुदला िआलला स ेवह्ी पलाि ेथ।े इस बलाि न ेिमलाम मिलातहब के मलानन ेवलाले उलमला औि सलामलानय लोगों को शदीद ग़ुससला तदललायला। । अिबः तकसी िबक़े औि मिहब के मलानन ेवलालों को "दोसि नहीं बनलायला औि आम िौि पि सबको

    ऐसा क्यों है? िरा सपोिेंफ़रहत अहमद आिा्यषि

  • राह-ए-ईमान15फ़रवरी 2020 ई०

    नलािलाि तकयला औि अपनला दशुमन बनला तदयला औि दलावि यह दी तक मझु ेक़बलू किो!अगि िेिला भी कु्छ दीं है, बदल दे जो मैं कहिला हूँतक इज़िि मझुको औि िझु पि मललामि आन ेवलाली है,

    कयला यह ििीक़ला है दतुनयला-दलािों औि दतुनयला पिसिों कला? औि अवलाम में हितदल अिीि बनन ेकला? दतुनयला पिसि औि दतुनयला के कीडे इनसलानों की िो बडी पहचलान ही यही है तक तकसी न तकसी ििह हला ँमें हलँा तमलला कि हि तकसी को अपन ेसलाथ तमललान ेकी कोतशश कििे हैं। आपन ेशदीद दशुमनों औि मख़ुलातलफ़ीन की िमलाम-िि कोतशशों औि हंगलामों के बीच िह कि, तनहलायि इिमीनलान औि सकफून के सलाथ अपनी दलावि-ओ-िबलीग़ कला कलाम जलािी िखला, औि िक़िीबन 25 हिलाि पषृ्ठों पि फैली हुई पसुिकें तलखीं, तवज्लापन तदए, सैंकडों पत्र तलख ेऔि दिू दिलाि इललाक़ों के दौिे फ़िमलाए। इन सब बलािों के बलावजदू, ललाखों अफ़िलाद न ेआपके हलाथ पि बअैि-ए-िौबला की औि एक जमलाअि की सथलापनला की "जमलाअि अहमतदयला इसललामीयला" आपन ेअल्लाह िआलला स ेख़बि पला कि कई बलाि ऐललान तकयला, तक यह जमलाअि सलािी दतुनयला में फैलगेी औि बढेगी औि कोई उस की ििककी को िोक नहीं सकेगला। यहलंा िक तक िमीन पि फ़ैल जलाएगी औि तसफ्फ यही तसलतसलला इसललाम कहललाएगला, आज दतुनयला के 214 दशेों में जमलाअि अहमतदयला इसललामीयला की शलाख़ें क़लायम हो गई हैं ! जलानन ेवलाल ेजलानिे हैं तक उनकी तिदंगी में तकस तशद्ि की मख़ुलातलफ़लानला िहिीकलाि चली हैं। तफि 1934 में एक बडी िहिीक चली, अिला उल्लाह शलाह बख़ुलािी सलातहब ऐललान किि ेथ ेतक वह क़लातदयलान की ईंट स ेईंट बजला देंग े(आज मलुिलान में उनकी अपनी क़ब् एक इबिि की जगह है।) तफि 1953 के ऐनटी अहमतदयला फ़सलादलाद हुए तफि 1974 के वलातक़यलाि हैं जो हमन ेअपनी आखँों स ेदखे,े औि ज़ुलफ़क़लाि अली भटु्टो सलातहब की दद्मनलाक हललाकि हमने अपनी आखँों स ेदेख ली। तफि तियला उल-हक़ सलातहब की कलातवशें हैं जो उनके दौि में जलािी िही हैं। यहला ँिक तक अल्लाह िआलला की ग़लातलब िक़दीि हिकि में आई औि उस को अपने लशकि समिे तफ़िऔनों की मौि के समलान हललाक कि तदयला। औि आज िो दशुमनी औि मख़ुलातलफ़ि एक इंतिहलाई बलुदं सिह पि पहंुच गई है। अगर रकसी कपो अल्ाह तआला न ेइबरत (सीख) हारसल करन ेवाली आखँ दी हपो तपो समझन ेके रलए बहुत सी बातें हैं, अल्ाह स ेदआु करें और सपोिें रक ्य ेसब क्या है?? हे बुतद्धमलानो! तवचलाि किो। पतवत्र क़ुिआन में ख़ुदला िआलला कला यह वलादला है तक अल्लाह िआलला औि उसके िसलू हमशेला

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 16

    ग़लातलब आि ेहैं इसी सच्चलाई की जीिी जलागिी िसवीि जमलाअि अहमतदयला की तदन प्ति तदन होिी ििकक़ी है। अल्लाह िआलला अपन ेवलाद ेके अनुसलाि जमलाअि की हक़ीक़ि औि महुबबि लोगों के तदलों में तबिलािला जला िहला है। नबवुवि कला कोई झिूला दलावेदलाि दतुनयला में सममलान नहीं पलािला बजलक वह औि उसकला तसलतसलला बहुि जलदी ख़तम हो जलािला है औि इसके तलए तकसी इंसलान को हलाथ-पिै मलािन ेकी िरूिि भी नहीं पडिी ख़ुदला सवयं उसको िबलाह कि दिेला है, लेतकन यह कयला मलामलला हुआ तक मसुलमलानों ईसलाइयों औि तहनदओुं के ललाखों लोगों न ेआपके तसलतसल ेको तमटलानला चलाहला लतेकन बलाल भी बीकला न कि सके। औि यह जमलाअि दतुनयला में फैलिी चली जला िही है औि समसि ससंलाि में सममलान के सलाथ यलाद की जलािी है। हे ख़ुदला के बनदो! तवचलाि किो औि आने वलाल ेमसीह को पहचलानो, हमलािी दआु है तक अल्लाह आपकला सही मलाग्मदश्मन किे आमीन।

    कानों में साएँ साएँ की आवाि आती हपो। िो सिसों के िेल पच्चलास ग्लाम में िुख़म हिमल दो अदद पीस कि नलाफ़ में पंद्ह तदन लगलाने

    से सलाएँ सलाएँ की आवलाि आनला ख़तम हो जलािी है। ★ क़ुववत समाअत (सुनने की ताक़त) बढ़ाने के रलएक़ुववत समाअत (सुनने की ताक़त) की कमी दूि किने के तलए सिसों के पच्चलास ग्लाम

    िेल में दलािचीनी पीसेंबीस ग्लाम जलला कि वह िेल नलाफ़ में लगलाने से क़ुववि समलाअि में बेहििी आिी है। ★ पेट का फूलनापच्चलास ग्लाम सिसों के िेल में बीस ग्लाम कलौंजी कला िेल तमलला के हलकला गम्म कि के िंडला

    कि के लगलाने से दो मलाह में पेट कंट्रोल हो जलािला है। ★ बड़ा क़बि कुिा नुसख़ा हैअगि नहलाने के बलाद िोग़न िैिून नलाफ़ में लगला दें िो एलजगी औि ज़ुकलाम नहीं होिला। ििला ग़ौि कीतजए जो इलम आप िक पहुंचला वह अमलानि है उन लोगों की जो नहीं जलानिे हैं

    तलहलािला ये अमलानि उस के हक़दलाि िक पहुंचलाएं।

    पृष्ठ 19 का िे्

  • राह-ए-ईमान17फ़रवरी 2020 ई०

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    नाफ़ (नारभ) के बारे में रपोिक जानकारीनलाफ़ अल्लाह सुबहलानहु िआलला की ििफ़ से एक ख़लास िोहफ़ला है। ६२ सलाल की उम्र के

    एक बूढे आदमी को बलाएं आँख से सही निि नहीं आ िहला थला। खलासिौि पि िलाि को िो औि निि ख़िलाब हो जलािी थी।

    डलाकटिों ने उनहें बिलायला तक आपकी आँखें िो िीक हैं,बस एक प्लाबलम है तक तजन िगों से आँखों को ख़ून फ़िलाहम होिला है वह सूख चुकी हैंसलाईंस के मुिलातबक़ सबसे पहले अल्लाह की िख़लीक़ इनसलान में नलाफ़ बनिी है। जो तफि

    एक नलाली के ििीये मलाँ से जुड जलािी है औि इसी ख़लास िोहफ़े से जो बिलातहि एक ्छोटी सी चीि है एक पूिला इनसलान िख़लीक़ होिला है। सुबहलान-अल्लाह

    ★ नाफ़ का सुराख़ एक हैरानकुन िीि है सलाईंस के मुिलातबक़ एक इनसलान के मिने के िीन घंटे बलाद िक नलाफ़ कला ये तहससला गम्म िहिला

    है। वजह उसकी ये बिलाई जलािी है तक यहलां से बच्चे को मलाँ के ििीये ख़ुिलाक तमलिी है। बच्चला पूिी ििह से 270 तदन में फ़लाम्म हो जलािला है यलानी 9 महीनों में।

    हमलािी िमलाम िगें इस मुक़लाम से जुडी होिी हैं। उसकी अपनी एक ख़ुद की तिंदगी होिी है। पैचोटी नलाफ़ के इस सुिलाख़ के पी्छे मौजूद होिी है जहलां िक़िीबन 72000 िगें मौजूद होिी

    हैं। हमलािे तजसम में मौजूद िगें अगि फैललाई जलाएं िो िमीन के तगद्म दो बलाि घुमलाई जला सकिी हैं।

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 18

    परेिानी★ आँख अगि सूख जलाये औि सही निि नला आिला हो★ पित्ा सही कलाम नला कि िहला हो★ पलांव यला होंट फट जलािे हों★ चेहिे को चमकदलाि बनलाने के तलए★ बलाल चमकलाने के तलए★ घुटनों के दद्म के तलए★ सुसिी★ जोडों में दद्म★ खलाल कला सूख जलानला

    तरीक़ा-ए-इलाज★ आँखों के सूख जलानला, सही निि नहीं आनला, चमकिी खलाल औि बलाल के तलए िोि

    िलाि को सोने से पहले िीन क़ििे ख़लातलस देसी घी के यला नलािीयल के िेल के, नलाफ़ के सुिलाख़ में टपकलाएं औि िक़िीबन डेढ इंच सुिलाख़ के इद्म-तगद्म लगलाऐं।

    ★ घुटनों की िकलीफ़ दूि किने के तलए िीन क़ििे अिंडी के िेल के िीन क़ििे सुिलाख़ में टपकलाएं औि इद्म-तगद्म लगलाऐं जैसे ऊपि बिलायला है।

    ★ कपकपी औि सुसिी दूि किने के तलए औि जोडों के दद्म में आिलाम के तलए औि खलाल

  • राह-ए-ईमान19फ़रवरी 2020 ई०

    (तवचला) के सूखेपन को दूि किने के तलए सिसों के िेल के िीन क़ििे ऊपि बिलाए गए ििीक़े के मुिलातबक़ इजसिमलाल किें।

    नाफ़ के सुराख़ में तेल क्यों िाला जा्ये★ नलाफ़ के सुिलाख़ में अल्लाह ने ये ख़लासीयि िखी है तक जो िगें तजसम में अगि कहीं सूख

    गई हैं िो नलाफ़ के ििीये उन िक िेल पहुंचलायला जला सकिला है तजससे वह दोबलािला िलािला हो जलािी हैं। ★ बच्चे के पेट में अगि दद्म हो िो हींग पलानी औि िेल में तमललाकि के नलाफ़ के इद्म-तगद्म

    लगलाऐं चंद ही तमनटों में इंशलाअल्लाह आिलाम आ जलाएगला। ★ िनलाव की कमी के तलए नलाफ़ मेंआब पयलाि बीस ग्लामिोग़न िैिून आध पलाओतमलला कि नलाफ़ के अंदि औि बलाहि मलातलश किने से ये समसयला हल हो जलािी है।

    ★ कान के रलए िे् पृष्ठ 16 पर

  • फ़रवरी 2020 ई० राह-ए-ईमान 20

    रसलरसला अहमरद्या (अथला्मि अहमतदयि कला परिचय)(लेखक - हििि तमिला्म बशीि अहमद सलातहब M.A.)

    (भाग-18)